( RGH NEWS ) रायगढ़ जिले में सेवा सहकारी समिति के माध्यम से की जा रही धान खरीदी समिति प्रबंधकों द्वारा धान खरीदी करने से इंकार कर देने के साथ ही आज जिले के सभी खरीदी केन्द्रों में किसानों को परेशानी का सामना करना पड़ा है ।अधिकांश समितियों में किसान धान लेकर पहुंचे थे लेकिन समिति प्रबंधको के हड़ताल के कारण वापस धानलेकर लौटना पड़ा । सरकार द्वारा धान खरीदी को लेकर रोज रोज नए नए फरमानों से किसान भी त्रस्त है ।समिति प्रबंधकों के ऊपर कम धान खरीदी करने के साथ ही ,पंजीकृत धान रकबा में कटौती करने के मौखिक आदेश दिए गए हैं जिसके चलते समिति प्रबन्धकों को किसानों के कोपभाजन का सामना करना पड़ रहा है।
जिस धान खरीदी व समर्थन मूल्य 25 सौ रुपये प्रति क्विंटल करने के कारण छत्तीसगढ़ में कांग्रेस सरकार वजूद में आई थी ,वही धान खरीदी का मामला अब फिर तूल पकड़ने लगा है।किसान कांग्रेस सरकार के धान खरीदी नीति से जहाँ त्रस्त है वही अपने गाढ़े पसीने की कमाई पर भी राजनीति किये जाने से काफी नाराज हैं ।एक ओर सरकार किसानों की एक एक अन्न खरीदने की दावा करते नही थकती वही रकबे में कटौती के साथ एक बार में एक किसान से 50 क्विंटल से अधिक धान नही खरीदने की मौखिक निर्देश समिति प्रबंधको को दी गई है।ऐसे में समिति प्रबंधको के साथ साथ किसान भी आंदोलन के मूड में है ।
वही नोडल अधिकारी की माने तो समिति प्रबंधको के हड़ताल पर जाने के कारण सेवा सहकारी समिति लोइंग में 5किसानों के धान वापस लौटना पड़ा । कैमरे के सामने जिला प्रशासन के अधिकारी कुछ भी कहने से बच रहे हैं । स्टिंग कैमरे में उप पंजीयक सहकारी संस्थाये रायगढ़ शिल्पा अग्रवाल की माने तो जिले में धान खरीदी जारी है, कही कही जहा धान खरीदी प्रारंभ नही हुई है, वही पर बन्द है।