ISRO SpaDeX Mission: ISRO आज दो उपग्रहों को करेगा लॉन्च, जानें क्यों अहम है ये SpaDeX Mission..
ISRO SpaDeX Missionभारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) कक्षा में अंतरिक्ष यान की ‘डॉकिंग’ और ‘अनडॉकिंग’ का प्रदर्शन करने के लिए सोमवार रात श्रीहरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र से दो उपग्रहों को प्रक्षेपित करेगा। प्रदर्शन में कामयाबी मिलने पर भारत यह उपलब्धि हासिल करने वाला दुनिया का चौथा देश बन जाएगा। अंतरिक्ष एजेंसी के अधिकारियों ने बताया कि इसरो का रॉकेट ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान (पीएसएलवी) दो उपग्रहों एसडीएक्स-एक और एसडीएक्स-दो को 476 किलोमीटर की वृत्ताकार कक्षा में स्थापित करेगा और जनवरी के पहले सप्ताह में अंतरिक्ष डॉकिंग प्रयोग (स्पैडएक्स) का प्रयास करेगा
केंद्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री जितेंद्र सिंह ने कहा, यह मिशन अंतरिक्ष डॉकिंग में महारत हासिल करने में सक्षम देशों की विशेष श्रेणी में भारत के प्रवेश को रेखांकित करेगा। स्पैडएक्स मिशन अंतरिक्ष अन्वेषण में भारत के भविष्य के प्रयासों के लिए महत्वपूर्ण कदम साबित होने की उम्मीद है, जिसमें पृथ्वी पर चंद्रमा से चट्टानें और मिट्टी लाना, प्रस्तावित भारतीय अंतरिक्ष स्टेशन और चंद्रमा की सतह पर एक अंतरिक्ष यात्री को उतारना शामिल है। अब तक केवल अमेरिका, रूस और चीन ने ही अंतरिक्ष डॉकिंग तकनीक में महारत हासिल की है।
ISRO SpaDeX Mission क्या है?
ISRO SpaDeX मिशन का उद्देश्य अंतरिक्ष यानों की डॉकिंग और अनडॉकिंग प्रक्रिया को सफलतापूर्वक प्रदर्शित करना है, जिससे भविष्य के अंतरिक्ष मिशनों में डॉकिंग तकनीक का उपयोग किया जा सके।
SpaDeX मिशन से भारत को क्या लाभ होगा?
SpaDeX मिशन से भारत अंतरिक्ष डॉकिंग में महारत हासिल करने वाले देशों की श्रेणी में शामिल हो जाएगा और यह भारत के चंद्र और अंतरग्रहीय मिशनों के लिए महत्वपूर्ण कदम होगा।
SpaDeX मिशन में कौन से उपग्रह शामिल हैं?
इस मिशन में दो उपग्रह शामिल हैं: एसडीएक्स-एक (चेजर उपग्रह) और एसडीएक्स-दो (लक्ष्य उपग्रह)।
SpaDeX मिशन का दूसरा उद्देश्य क्या है?
इस मिशन का दूसरा उद्देश्य डॉक किए गए अंतरिक्ष यानों के बीच विद्युत शक्ति का स्थानांतरण प्रदर्शित करना है, जो भविष्य के अंतरिक्ष मिशनों के लिए आवश्यक होगा।
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SpaDeX मिशन के बाद इन उपग्रहों का क्या होगा?
ISRO SpaDeX Missionमिशन के बाद दोनों उपग्रह पृथ्वी की परिक्रमा करते रहेंगे और दो साल तक अलग-अलग मिशनों के लिए कार्य करेंगे।