स्कूल की छत गायब, दीवारों पर काई, दूसरे के घर पढ़ने को मजबूर हैं बच्चे, शिक्षा विभाग पर उठे सवाल

एमपी के बड़वानी के जाल्यापानी में एक प्राथमिक विद्यालय जर्जर हालत में है, जिसकी छत गायब है। बच्चे बारिश में ग्रामीणों के घरों में पढ़ने को मजबूर हैं। शिक्षा विभाग को समस्या की जानकारी होने के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं की गई है,

एमपी के बड़वानी जिले के जाल्यापानी में एक प्राइमरी स्कूल की हालत बहुत खराब है। स्कूल में छत नहीं है। बच्चे बारिश में किसी के घर में पढ़ने को मजबूर हैं। यह समस्या कई सालों से बनी हुई है, लेकिन अभी तक कोई समाधान नहीं हुआ है। शिक्षा विभाग के अधिकारी इस बारे में जानते हैं, लेकिन उन्होंने अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की है।

इस प्राइमरी स्कूल की छत पूरी तरह से गायब है। सिर्फ दीवारें ही खड़ी हैं, और वे भी जर्जर हालत में हैं। दीवारों पर नमी के कारण काई जम गई है। दीवारों का रंग भी हरा और काला पड़ गया है। बारिश के मौसम में बच्चों को एक स्थानीय व्यक्ति के घर में पढ़ाया जाता है। वहां भी बच्चों के बैठने की अच्छी व्यवस्था नहीं है। स्कूल में पीने के पानी की भी व्यवस्था नहीं है। शौचालय टूटे हुए हैं। ग्रामीणों का कहना है कि शिक्षक भी नियमित रूप से स्कूल नहीं आते हैं।

इस स्कूल भवन का निर्माण 2006 में हुआ था। तीन-चार साल पहले इसकी छत नीचे गिर गई थी। जन शिक्षक ने प्रतिवेदन बनाया था, और वरिष्ठ अधिकारियों को भी कई बार अवगत कराया गया था। मगर किसी ने कोई सुध नहीं ली।

स्थानीय निवासी ने बताया कि उनके पास कोई दूसरा विकल्प नहीं है। इसलिए वे अपने बच्चों को इसी स्कूल में भेजने को मजबूर हैं। उन्होंने सरकार से स्कूल की स्थिति में सुधार करने की मांग की है। वे चाहते हैं कि सरकार स्कूल की हालत सुधारे ताकि उनके बच्चों को अच्छी शिक्षा मिल सके।