Share Market Crash: ट्रंप के टैरिफ से शेयर बाजार में हाहाकार; सेंसेक्स 700 अंक से ज्यादा टूटा, निफ्टी भी पस्त…

Share Market Crash अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारत से आयात होने वाले सभी उत्पादों पर 25% टैरिफ लगाने की घोषणा का सीधा असर भारतीय शेयर बाजार पर दिखाई दिया। सप्ताह के पहले कारोबारी दिन ही बाजार में बड़ी गिरावट देखी गई, जहां सेंसेक्स 700 अंकों से ज्यादा टूट गया और निफ्टी भी 160 अंकों से ज्यादा लुढ़क गया। निवेशकों में टैरिफ को लेकर चिंता का माहौल है, जिससे बाजार में भारी बिकवाली देखने को मिल रही है।
बीएसई सेंसेक्स सुबह 9 बजकर 28 मिनट पर 542.05 अंक की गिरावट के साथ 80,939.81 के लेवल पर कारोबार कर रहा था। इसी तरह, एनएसई का निफ्टी भी 160.65 अंक लुढ़ककर 24694.40 के लेवल पर कारोबार करता दिखा। 31 जुलाई को मार्केट खुलते ही निवेशकों के 4.42 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा पैसे डूब गए।
टॉप लूजर और गेनर स्टॉक्स
सत्र की शुरुआती में निफ्टी के प्रमुख लूज़र (घाटे में रहे शेयरों) स्टॉक्स में टाटा मोटर्स, डॉ रेड्डीज लैब्स, रिलायंस इंडस्ट्रीज, भारती एयरटेल और टाइटन कंपनी शामिल हैं। वहीं कुछ शेयरों में हल्की बढ़त भी देखने को मिली है। निफ्टी के सबसे ज्यादा लाभ वाले स्टॉक्स में जियो फाइनेंशियल, एसबीआई लाइफ इंश्योरेंस और टाटा स्टील उभरे। सेंसेक्स में शामिल 30 में से केवल 5 शेयर ही हरे निशान में कारोबार कर रहे हैं। इनमें सबसे ज्यादा बढ़त इटरनल, पावरग्रिड और टाटा स्टील में देखी जा रही है। दूसरी ओर, सबसे बड़ी गिरावट भारती एयरटेल में दर्ज की गई है।
भारत को लगेगा झटका!
पीटीआई की खबर के मुाबिक, जियोजित इन्वेस्टमेंट्स लिमिटेड के मुख्य निवेश रणनीतिकार वी.के. विजयकुमार ने कहा कि भारत पर 25 प्रतिशत टैरिफ और रूस से ऊर्जा व रक्षा खरीद को लेकर संभावित जुर्माना, भारतीय निर्यात और अर्थव्यवस्था के लिए बुरी खबर है। उन्होंने कहा कि भारत पर लगाए गए 25 प्रतिशत टैरिफ, साथ ही रूस से ऊर्जा और रक्षा से जुड़ी खरीद के लिए संभावित अतिरिक्त जुर्माना, भारतीय निर्यात के लिए बेहद नकारात्मक संकेत है और इसका असर अल्पकालिक रूप से भारत की आर्थिक विकास दर पर भी पड़ेगा।
एशियाई बाजारों में क्या है रुझान
Share Market Crash बाजारों में, दक्षिण कोरिया का कोस्पी, शंघाई का एसएसई कंपोजिट सूचकांक और हांगकांग का हैंग सेंग गिरावट के साथ कारोबार कर रहे थे, जबकि जापान का निक्केई 225 सूचकांक सकारात्मक दायरे में था। बुधवार को अमेरिकी बाजार अधिकतर गिरावट के साथ बंद हुए। उधर, वैश्विक तेल बेंचमार्क ब्रेंट क्रूड 0.19 प्रतिशत गिरकर 73.10 डॉलर प्रति बैरल पर आ गया।