रायगढ़ न्यूज़ (समाचार)

Raigarh News: रायगढ़ एनर्जी के भूविस्थापितों को नौकरी नहीं मिली तो होगी आर्थिक नाकेबंदी…

Raigarh News रायगढ़, 17 मई। पावर प्लांट के लिए पुश्तैनी जमीन देने के बरसों बाद भी नौकरी के लिए भटक रहे भूविस्थापितों ने रायगढ़ एनर्जी के खिलाफ जमकर हल्ला बोला। यही नहीं, आर्थिक नाकेबंदी की पूर्व सूचना देने तहसील कार्यालय पहुंचे युवकों ने बेरोजगारी की भड़ास निकालते हुए इसके निदान के लिए प्रशासन से उम्मीद भी जताई।

जिले के पुसौर विकासखण्ड के ग्राम बड़े भंडार में स्थित रायगढ़ एनर्जी जनरेशन लिमिटेड इनदिनों सुर्खियों में है। यहां भूविस्थापितों ने ही कंपनी प्रबंधन के विरुद्ध वादाखिलाफी का आरोप लगाते हुए मोर्चा खोल दिया है। बुधवार दोपहर जिला पंचायत सदस्य आकाश मिश्रा के नेतृत्व में दर्जनों युवक तहसील कार्यालय पहुंचे और एसडीएम गगन शर्मा को रायगढ़ एनर्जी के खिलाफ आर्थिक नाकेबंदी करने की लिखित में पूर्व सूचना भी दी।

जिला पंचायत सदस्य आकाश मिश्रा ने बताया कि बड़े भंडार में सालों पहले कोरबा वेस्ट पावर कंपनी लिमिटेड ने स्थानीय ग्रामीणों से कुछ वर्ष पूर्व जिस कृषि भूमि का सीधा क्रय और अधिग्रहण करते हुए भूविस्थापितों को बदले में प्रत्येक खाते से एक व्यक्ति को कंपनी में स्थायी नौकरी देने का आश्वासन दिया गया था। चूंकि, कोरबा वेस्ट के रायगढ़ एनर्जी जनरेशन लिमिटेड होने के बाद भी भूविस्थापितों को आज पर्यन्त अस्थाई नौकरी पर रखा गया है। इससे वे अल्प वेतन पर काम करने मजबूर और अन्य सुविधाओं से वंचित हो रहे है। आकाश का दावा है कि 5 गांव से जमीन खरीदने वाली कंपनी ने भूअर्जन लगाते हुए प्लांट भी स्थापित कर अनुबंध भी तय किया कि सभी भूविस्थापितों को रोजगार मिलेगा, मगर आश्वासन के अलावे कुछ नहीं मिला।

 

 

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Raigarh News     वहीं, अमलीभौना निवासी सम्पत लाल सिदार का कहना है कि उसने कंपनी को पावर प्लांट लगाने के लिए अपनी खानदानी जमीन दी, पर नौकरी के नाम पर वह विगत 12 साल से भटक रहा है। सम्पत की माने तो दो मर्तबे वह इंटरव्यू भी दे चुका है और कंपनी के अधिकारी उसे आजकल कहते हुए घुमा रहे हैं। ऐसे में रायगढ़ एनर्जी की वादाखिलाफी से परेशान होकर वह भी क्षेत्र के युवकों के साथ विरोध प्रदर्शन के लिए तैयार है। एसडीएम के नाम प्रेषित आवेदन में ग्रामीणों ने स्पष्ट कहा है कि प्रशासन की त्रिपक्षीय वार्ता कराने के बावजूद जिस तरह उनको कंपनी प्रबंधन हल्के में ले रही है, लिहाजा वे धरना से लेकर आर्थिक नाकेबंदी की तैयारी भी कर रहे हैं।

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